Yuzvendra Chahal: भारतीय क्रिकेट सर्किट (Indian Cricket) में एक से एक दिग्गज फिरकी गेंदबाज रहे हैं, जिसमें अनिल कुंबले (Anil Kumble), हरभजन सिंह, बिशन सिंह बेदी, लक्ष्मण शिवरामाकृष्णन के अलावा मौजूदा दौर में आर अश्विन, रवीन्द्र जडेजा और कुलदीप यादव (Kuldeep Yadav) जैसे बेहतरीन स्पिन गेंदबाज रहे हैं। इन तमाम गेंदबाजों के बीच एक नाम युजवेन्द्र चहल का भी है, लेकिन इनमें ये बड़ा अंतर रहा है कि चहल के अलावा बाकी सभी बड़े स्पिनर्स रेड बॉल क्रिकेट खेल चुके हैं।
Yuzvendra Chahal: युजवेन्द्र चहल को है टेस्ट फॉर्मेट में उतरने का इंतजार
टीम इंडिया (Team India) के लिए पिछले कुछ सालों में लिमिटेड ओवर्स में सबसे बड़े विकेट टेकर रहे युजवेन्द्र चहल (Yuzvendra Chahal) को अब तक टेस्ट क्रिकेट में उतरने का मौका नहीं मिल सका है। एक क्रिकेटर जब क्रिकेटर बनने के लिए लगन के साथ कड़ी मेहनत करने को जुट जाता है, तो शुरू से वो ये चाहता है कि वो एक ना एक दिन अपने देश के लिए क्रिकेट के सबसे लंबे फॉर्मेट टेस्ट क्रिकेट में खेलने जरूर उतरे। लेकिन चहल का ये सपना अब तक पूरा नहीं हो सका है।
8 साल के करियर में चहल को अब तक नहीं मिला रेड बॉल क्रिकेट में मौका
इंटरनेशनल क्रिकेट में हरियाणा के इस चतुर, चालाक स्पिन गेंदबाज युजवेन्द्र चहल ने 2016 में ही कदम रख दिया था। उसके बाद से वो लगातार सफेद गेंद के फॉर्मेट में खेलते रहे, जिन्होंने बहुत ही खाम मुकाम हासिल किया है, लेकिन इसी बीच उन्हें अपने 7-8 साल के करियर में अब तक सफेद पोशाक की क्रिकेट में खेलने का अवसर नहीं मिल सका है।
टेस्ट क्रिकेटर बनने का इंतजार, चहल ने नहीं छोड़ी है आस
टेस्ट क्रिकेट (Test Cricket) में खेलने का सपना हर क्रिकेटर का होता है, वहीं सपना 32 बरस के हो चुके युजवेन्द्र चहल भी पूरा करना चाहते हैं। उन्हें भले ही अब तक इस फॉर्मेट में मौका नहीं मिला है, लेकिन उन्होंने अब तक इसकी आस भी नहीं छोड़ी है। वो चाहते हैं कि उनके नाम के साथ भी टेस्ट क्रिकेटर का टैग लग जाए और उम्मीद जतायी कि जल्द से जल्द उन्हें ये मुकाम हासिल करने का मौका मिलेगा।
चहल ने कहा, अभी भी है ‘टेस्ट क्रिकेटर’ का टैग लगने की उम्मीद
एक स्पोर्ट्स वेबसाइट को दिए इंटरव्यू में युजवेन्द्र चहल ने कहा कि, “हर क्रिकेटर का अंतरराष्ट्रीय मंच पर अपनी टीम का प्रतिनिधित्व करने का सपना होता है। जब वे सफेद जर्सी में लाल गेंद से टेस्ट क्रिकेट खेलते हैं तब शिखर तक पहुंचते हैं। मेरा भी ऐसा ही सपना है। मैंने सीमित ओवर क्रिकेट में बहुत कुछ हासिल किया है, लेकिन लाल गेंद अभी भी मेरी चेकलिस्ट में है।“
“मेरा अभी भी सपना है कि मेरे नाम के आगे 'टेस्ट क्रिकेटर' का टैग लग जाए। मैं घरेलू और रणजी मैचों में अपना सर्वश्रेष्ठ देने की कोशिश करता हूं ताकि मेरा यह सपना पूरा हो सके, और मुझे उम्मीद है कि मुझे जल्द ही भारतीय टेस्ट टीम का प्रतिनिधित्व करने का मौका मिलेगा।"
टीम में सेलेक्शन नहीं है हमारे हाथ
भारत के इस फिरकी गेंदबाज ने बताया कि उनका काम अपना श्रेष्ठ प्रदर्शन करना है और सेलेक्शन उनके हाथ में नहीं है। उन्होंने आगे इसी बात को लेकर कहा कि,
“यह ठीक है, आप जानते हैं। कुछ चीजें आपके हाथ में नहीं हैं, इसलिए मैं उस पर ज्यादा विचार नहीं करता। मेरा ध्यान तब तक अपना सर्वश्रेष्ठ देने और अच्छा प्रदर्शन करने पर है जब तक मैं खेल रहा हूं। कोई भी मैच हो, मेरा उद्देश्य अपना 100% देना है। चयन एक ऐसी चीज है जो हमारे हाथ में नहीं है। चाहे आप खेल रहे हों या नहीं, एक बार जब आप नीली जर्सी पहनते हैं और टीम का हिस्सा बनते हैं, तो यह आपको हमेशा आत्मविश्वास देता है। कम से कम आप वहां हैं, और जो कुछ भी आने वाला है उसके लिए तैयार रहना होगा।"
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